IN8@गुरुग्राम……गुरुग्राम में पिछले चार दिन से रुक-रुककर हो बारिश के बाद बुधवार को भी सुबह कई स्थानों पर बारिश तो कई जगह ओलावृष्टि भी हुई। इसके बाद भी दिनभर धूप नहीं निकली और पूरे दिन धुंध छाई रही। हालांकि दिनभर बादल छाए रहने से अधिकतम तापमान 21 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। जबकि न्यूनतम तापमान जनवरी महीने में पिछले चार साल में सबसे अधिक दर्ज किया गया।
वर्ष 2017 में जनवरी महीने में न्यूनतम तापमान 16 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। इसके बाद बुधवार को न्यूनतम तापमान 13.6 डिग्री सेल्सियस रहा, जो सामान्य से सात डिग्री सेल्सियस अधिक रहा है। वहीं बुधवार को भी गुरुग्राम में 5 एमएम बारिश दर्ज की गई। चार दिन से रुक-रुककर हो रही बारिश से सड़कों को बुरा हाल हो गया और कई सड़कें क्षतिग्रस्त होने के बाद कीचड़ से लथपथ दिखी। जिससे वाहन चालकों को काफी परेशानी उठानी पड़ी।
गत शनिवार से गुरुग्राम में कभी हल्की तो कभी मध्यम बारिश हो रही है। इस बारिश के कारण सड़कों पर जगह-जगह जलभराव दिखाई दे रहा है। वहीं कई सड़कें बारिश के कारण क्षतिग्रस्त भी हो गई हैं। बुधवार सुबह 7 बजे से ही हल्की बारिश शुरू हो गई, जो सुबह 8.30 बजे तक जारी रही। इसके बाद दिनभर बादल व धुंध छाई रही। ऐसे में विजिबिलिटी 500 मीटर तक ही रही। वहीं मौसम विभाग की ओर से एनसीआर में गुरुवार से कोहरा छाए रहने के लिए अलर्ट जारी किया गया है। हालांकि अभी मौसम पूरी तरह साफ नहीं होगा और एक बार फिर 9 जनवरी को भी बूंदाबांदी होने के आसार हैं। हालांकि वीकेंड पर अब ठंड बढऩे वाली हैं।
वहीं बुधवार की अलसुबह पटौदी के आसपास के गांवों में तेज बरसात के साथ आलावृष्टि हुई। ओलावृष्टि से ज्यादानुकसान तो नहीं हुआ अलबता सरसों की फसल को जरूर इससे कुछ नुकसान होगा। अचानक ओलावृष्टि के कारण किसानों की सांसे फूल गई। वहीं ओलावृष्टि के कारण सर्दी का प्रकोपबढ़ गया है। गांव लोकरा, मऊ के आसपास सुबह 5और 6 बजे के दरमयान तेज बरसात हुई इस बरसार के साथ एकाएक ओलावृष्टि शुरू हुईतो लोगों की आंखे अपने आप ही खुल गई। धरती पर सफेद चादर लोकरा गांव केसंदीप यादव के अनुसार धरती पर सफेद चादर फैल गई थी। ओलों की मोटाई कम थीलेकिन ओलावृष्टि ज्यादा भी। सरसों की फसल को नुकसान होने की कुछ संभावना है। सर्दी बढ़ी अचानक ओलावृष्टि के कारण पटौदीऔर आसपास के इलाके में सर्दी का प्रकोप बढ़ गया है। सुबह से ही रूक रूक करबरसात हुई। बरसात के कारण गेहूं की फसल को काफी फायदा होने की उ मीद है। कृषि अधिकारियों की माने तो अभी मौसम कृषि के अनुकूल है।