वाराणसी बम धमाके में वलीउल्लाह दोषी, 6 जून को सुनाएगा सजा

-संकट मोचन मंदिर और रेलवे स्टेशन पर 18 लोगों की हुई थी मौतें

प्रमोद शर्मा @ गाजियाबाद। वाराणसी में साल 2006 में हुए सिलसिलेवार बम धमाकों में शनिवार को वलीउल्लाह को दोषी ठहराया गया है। 6 जून को कोर्ट सजा सुनाएगा। गाजियाबाद की कोर्ट में जिला जज जितेंद्र कुमार सिन्हा ने यह फैसला सुनाया। जिला एवं सत्र न्यायालय ने 23 मई को बहस पूरी करते हुए फैसले की तारीख 4 जून शनिवार को तय की थी। वलीउल्लाह पिछले करीब 17 साल से जेल में बंद है। फिलहाल उसको गाजियाबाद की डासना जेल में रखा गया है। वाराणसी पुलिस ने संकट मोचन मंदिर मामले में 52, रेलवे कैंट धमाके में 53 और दशाश्वमेध घाट केस में 42 गवाह बनाए थे।

7 मार्च 2006 को वाराणसी के कैंट रेलवे स्टेशन और संकट मोचन मंदिर में सिलसिलेवार बम धमाके हुए थे। इसमें 18 लोगों की मौत और 35 से ज्यादा घायल हुए थे। इस मामले में पुलिस ने 5 अप्रैल 2006 को प्रयागराज जिले के फूलपुर गांव निवासी वलीउल्लाह को गिरफ्तार किया।

पुलिस ने वलीउल्लाह से एके-47 और आरडीएक्स बरामद दिखाया था। पुलिस ने दावा किया कि संकट मोचन मंदिर और कैंट रेलवे स्टेशन वाराणसी पर धमाके की साजिश रचने में वलीउल्लाह का हाथ था। पुलिस ने वलीउल्लाह के संबंध आतंकी संगठन हूजी से भी बताए थे। कहा जाता है कि वलीउल्लाह से पूछताछ में उसके कुछ और साथियों के नाम भी सामने आए थे। इसमें प्रमुख रूप से मुस्तकीम, जकारिया और शमीम का नाम शामिल था। ये सभी उत्तर प्रदेश में अलग-अलग स्थानों के रहने वाले थे।

आज तक वलीउल्लाह के अलावा कोई और आरोपी सुरक्षा एजेंसियों के हाथ नहीं आया। ऐसा कहा जाता है कि ये सभी आरोपी बांग्लादेश के रास्ते पाकिस्तान भाग गए थे। वाराणसी के अधिवक्ताओं ने वलीउल्लाह का मुकदमा लडऩे से मना कर दिया था। जिसके बाद हाईकोर्ट के आदेश पर यह मुकदमा गाजियाबाद के लिए ट्रांसफर हुआ था। 23 मई को जिला न्यायाधीश जितेंद्र सिन्हा की अदालत में इस केस की सुनवाई पूरी हो चुकी है। अदालत ने फैसले के लिए चार जून की तारीख लगाई थी।