- तीनांे कृषि बिलों को बताया काला कानून, सरकार के खिलाफ भी की नारेबाजी
- कानून वापस न लिए तो जारी रहेगा किसानों का आंदोलन
दीपक वर्मा@शामली। भारतीय किसान यूनियन ने केन्द्र सरकार द्वारा पारित किए गए कृषि कानूनों की प्रतियां जलाकर अपना विरोध जताया। भाकियू ने कहा कि जब तक ये कानून रद्द नहीं होते, किसानों का प्रदर्शन जारी रहेगा। भाकियू ने इन कानूनों को काले कानूनों की संज्ञा देकर सरकार से इन्हें तुरंत वापस लेने की मांग की।
जानकारी के अनुसार बुधवार को भारतीय किसान यूनियन के सैंकडों कार्यकर्ता ने शहर के गुरुद्वारा तिराहा पर पहंुचकर केन्द्र सरकार द्वारा पारित किए गए कृषि कानूनों के विरोध में जमकर नारेबाजी की। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने तीनों कृषि कानूनों की प्रतियां जलाकर अपना विरोध जताया। इस दौरान सरकार के खिलाफ भी जमकर नारेबाजी की गयी। भाकियू प्रदेश प्रवक्ता कुलदीप पंवार ने कहा कि सरकार के इन कानूनों से देश का किसान बर्बाद हो जाएगा, सरकार पूंजीपतियों को लाभ पहुंचाने के लिए किसानों को मोहरा बना रही है। किसान विरोधी ये कानून काले कानून हैं जिन्हें बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। इन कानूनों के विरोध में आज देशभर में इनकी प्रतियां जलायी जा रही है। उन्होंने कहा कि इन कानूनों के संबंध में जो चार सदस्यीय कमेटी बनायी गयी है, उस कमेटी भी वे लोग शामिल हैं जो इन कानूनों के पक्ष में हैं। उन्होंने कहा कि जब तक इन कानूनों को वापस नहीं लिया जाता, किसानों को आंदोलन जारी रहेगा। कुलदीप पंवार ने कहा कि दिल्ली में हजारों की संख्या में किसान कडाके की ठंड में सडक पर धरना प्रदर्शन कर रहे हंै, अब तक कई किसानों की मौत भी हो चुकी है लेकिन सरकार अपनी जिद पर अडी है। उसे किसानों की मौत से कोई लेनादेना नहीं है वह केवल बिल को लागू करना चाहती है लेकिन किसान ऐसा नही होने देंगे। सरकार को हर हाल में ये काले कानून वापस लेने ही होंगे। इस दौरान कार्यकर्ताओं ने सरकार से इन काले कानूनों को तुरंत वापस लिए जाने की मांग की। इस अवसर पर योगेन्द्र निर्वाल, दीपक शर्मा, पुष्पेन्द्र निर्वाल, मा. जाहिद समेत सैंकडों की संख्या मंे कार्यकर्ता मौजूद रहे।